बुधवार, 30 जून 2021

ज़ोन 2 के वरिष्ठ सहायक अधीक्षक शमीउल्लाह खान को अधिकारियों कर्मचारियों ने दी भावभीनी विदाई

 ज़ोन 2 के वरिष्ठ सहायक अधीक्षक शमीउल्लाह खान को अधिकारियों कर्मचारियों ने दी भावभीनी विदाई



रायपुर जोन क्रमांक दो के वरिष्ठ सहायक अधीक्षक शमी उल्लाह खान आज अपने 42 साल लंबे शासकीय सेवा काल से निवृत हुए मृदुभाषी ,ईमानदार,कर्तव्यनिष्ठ एवं  सरल व्यवहार के धनी शमी उल्लाह खान ने अपने लंबे सेवा काल मे कभी भी किसी छोटे से छोटे कर्मचारियों  अथवा बडे से बड़े अधिकारियों से किसी प्रकार के मन मुटाव की स्थिति नही बनी यही कारण है कि उनके सेवानिवृत काल के अंतिम दिनों में समस्त  अधिकारियों,और कर्मचारियों, की गरिमामयी उपस्थिति में उन्हें भावभीनी विदाई दी गई इस अवसर पर श्री शमीउल्लाह खान ने अपने संक्षिप्त उद्बोधन में भावुक होते हुए कहा कि यह मेरे लिए सम्मान और गर्व का विषय है कि मैं इतने वर्षों तक अपने इस परिवार के साथ जुड़ा रहा तथा अपने युवा काल से वृद्ध अवस्था मे पहुंच गया समय के तेज चक्र में ज्ञात ही नही हो सका कब सेवाकाल समाप्त हो गया फिर भी भरे मन से उपस्थित अपने अधिकारियों,कर्मचारियों से उन्होंने जाने अनजाने कोई गलती हुई इसके लिए क्षमा मांगी उनके इस उद्बोधन से वहां उपस्थित समस्त अधिकारी कर्मचारियों की आंखे भर आई वही समस्त वरिष्ठ अधिकारीयों सहित समस्त  कर्मचारियों ने पुष्प गुच्छ, श्रीफल,शाल, छाता,एवं अन्य उपहार भेंट कर उनके सुख समृद्धि,एवं स्वस्थ्य पूर्ण जीवन व्यतीत करने की शुभकामनाऐं दी इस विशेष अवसर पर श्री विनोद देवांगन जोन  2  के कार्यपालन अभियंता, विनय मिश्र, ज़ोन कमिश्नर, आई के चन्द्राकर सहायक अभियंता, ज्ञानेश त्रिपाठी,ज़ोन 3 सन्तोष स्वर्णकार,जोन 9 बंटी होरा,जोन 2 अध्यक्ष  सुंदर जोगी पार्षद, सुरेश चन्नावार,एम.आई.सी सदस्य अनवर हुसैन, सहित सभी अधिकारी कर्मचारी विशेष रूप से उपस्थित थे 

मंगलवार, 29 जून 2021

वन विकास निगम पानाबरस मंडल कार्यालय में आर.ए. पाठक ने नए मंडल प्रबंधक का पदभार ग्रहण किया

 वन विकास निगम पानाबरस मंडल कार्यालय में आर.ए. पाठक ने नए मंडल प्रबंधक का पदभार ग्रहण किया 


रायपुर (फॉरेस्ट क्राइम न्यूज़) प्रदेश मुख्यालय अरण्य भवन द्वारा  नए अधिकारोयों की सूची जारी की थी जिसमे  छग राज्य वन विकास निगम में भी अनुभवी,कर्तव्यनिष्ठ अधिकारी नियुक्त किए गए जिनमे नए मंडल प्रबन्धक (डी.एम) का पदभार ग्रहण करने  की औपचरिकता पूरी करने नए ( डी एम) आर.ए. पाठक साहब  पानाबरस कार्यालय राजनांदगांव पहुंचे श्री पाठक  कार्यालय  पहुंचते ही समस्त मैदानी अमला एवं  कार्यालयीन स्टाफ से रूबरू हुए  तथा वनों की सुरक्षा एवं मैदानी कार्यों में कसावट लाने दिशा निर्देश दिए यही नही उनके द्वारा कार्यालयीन कार्यों की समीक्षा भी की  ज्ञात यह हुआ है कि पानाबरस परियोजना मंडल कार्यालय राजनांदगांव सहित बारनवापारा परियोजना मंडल कार्यालय रायपुर एवं कवर्धा मंडल कार्यालय का मंडल प्रबंधक का प्रभार भी श्री पाठक देखेंगे 

गुरुवार, 24 जून 2021

राखी पुलिस की एक पक्षीय कार्यवाही से क्षुब्ध पीड़ित ने पुलिस अधीक्षक से निष्पक्ष जांच की मांग की

 राखी पुलिस की एक पक्षीय  कार्यवाही से क्षुब्ध पीड़ित ने पुलिस अधीक्षक से निष्पक्ष जांच की मांग की  

रायपुर (फॉरेस्ट क्राइम न्यूज़) कोरोना की दूसरी लहर के पूर्व पांच मार्च को  अटल नगर नवा रायपुर स्थित राखी पुलिस थाना द्वारा ,अधेड़ को रिवाल्वर के साथ पकड़ा, शीर्षक से एक प्रेस नोट जारी किया गया था जिसमें राजातालाब रायपुर निवासी हैदर अली 51 वर्ष को  डस्टर गाड़ी में रिवाल्वर के साथ पकड़ने की जानकारी दी गई थी चूंकि  प्रेस नोट राखी थाना से रिलीज किया गया था सो किसी प्रकार की शंका करने का औचित्य ही नही उठता और इसका प्रकाशन,प्रसारण, समाचार पत्रों सहित सोशल मीडिया में तैरने लगा परन्तु यही समाचार मिथ्या तथ्यहीन और भ्रामक समतुल्य लगे तो पुलिस विभाग की विश्वसनीयता,सत्यता और प्रमाणिकता पर सवाल उठना लाजिमी है  हाल ही ऐसे ही एक मिथ्या प्रकरण के समाचार, में फंसे  हैदर अली  एवं उसके भाई द्वारा लिखित में राखी पुलिस द्वारा स्वयं पर हुए एक पक्षीय कार्यवाही से व्यथित पुलिस विभाग के उच्च अधिकारियों  को आवेदन देकर षड्यंत्र कर्ता एवं पुलिस के पक्षपात एव संदेहपूर्ण कार्य को लेकर इनके विरुद्ध जांच कर  कानूनी कार्यवाही की मांग की है

            पीड़ित हैदर अली द्वारा दिए गए आवेदन में यह मांग की गई है कि मुख्य साजिश कर्ता नजमुद्दीन खान 50 वर्ष  नामक युवक जो पूर्व में आवेदक हैदर अली का किराएदार था एवं स्वयं को उधोग विभाग में कार्यरत कर्मचारी बताता था उसके द्वारा  पीपीई कीट सप्लाई का प्रलोभन देकर उससे लाखों की मोटी रकम ऐंठ लिया जिसे वापस मांगने पर उसने अधिकारियों को पीपीई कीट सप्लाई के एवज में तथा चेक से रकम दिलवाने एवं नया सप्लाई आर्डर दिए जाने  का प्रलोभन देकर हैदर अली को नवा रायपुर अटल नगर बुलवाया अपने वाकपटुता से विश्वास में लेकर आवेदक हैदर अली से पूर्व में ही नजमुद्दीन खान ने लाखों रुपये ले लिया था  तथा हैदर अली रुपाए मिलने की आस में  5 मार्च 2021 को तीन बजे नवा रायपुर स्थित अटल नगर पहुंच गया जहां चार छह घण्टे घूमाने के बाद न ही उसने किसी अधिकारी से मिलवाया और न ही आवेदक हैदर अली से ली गई रकम लौटाई इस तरह रात्रि नौ दस बजे तक उसे इसी तरह घुमाता रहा और दस बजे के लगभग तीन अज्ञात व्यक्तियों को बुलाकर नजमुद्दीन द्वारा -अब इनसे निपट कह कर- अपनी ऑल्टो गाड़ी से रवाना हो गया आवेदक हैदर अली द्वारा पत्र में इस बात का उल्लेख किया  है कि तीनों अज्ञात व्यक्तियों द्वारा उसे अपशब्दों का प्रयोग करते हुए बलात उठाकर ले जाने का प्रयास करने लगे तथा उसका गला भी दबाया  तब उसके द्वारा बचाव ,,,के लिए चीख पुकार किया गया तब राहगीरों में से किसी ने 112 में डायल किया गया तत्काल राखी पुलिस के पहुंचने पर तीनों अज्ञात व्यक्ति एवं आवेदक हैदर अली को राखी पुलिस थाना ले जाया गया जहां पर हैदर अली को लॉकअप में बन्द कर तीनों अज्ञात व्यक्ति लगभग  एक घण्टे तक टी.आई. से कक्ष में चर्चा करते रहे पश्चात लगभग ग्यारह बारह बजे आए तीनो अज्ञात व्यक्तियों द्वारा जिनके द्वारा आवेदक की गाड़ी घटना स्थल से थाना तक लाया गया था  उनके द्वारा डस्टर गाड़ी की आगली सीट से एक कारतूस विहीन रिवाल्वर निकाला गया तथा हैदर अली के विरुद्ध 25 आर्म्स एक्ट की धारा लगाकर कार्यवाही किया जाना बताया गया जबकि लॉकअप में बंद हैदर अली को इस संदर्भ में कोई जानकारी नही थी तथा बारबार नजमुद्दीन खान एवं अज्ञात व्यक्तियों द्वारा बलात किए गए दुर्व्यवहार एवं नजमुद्दीन की संदिग्ध भूमिका  की जानकारी देने के बावजूद राखी थाना पुलिस द्वारा उनके नाम का कहीं भी उल्लेख नही किया इसके विपरीत आवेदक हैदर अली को ही अपराधी घोषित कर दिया गया आवेदक हैदर अली ने विभाग के वरिष्ठ उच्च अधिकारियों को प्रस्तुत आवेदन में निम्न बिंदुओं पर जांच कर न्याय की मांग की है * अज्ञात तीन व्यक्ति जो आवेदक को घटना स्थल से गला दबा कर उठा कर ले जा रहे थे वो व्यक्ति कौन थे तथा उनकी हैदर अली के उठाकर या अपहरण करने के पीछे क्या मंशा थी ? 

* राखी पुलिस थाना में टी.आई.कक्ष में बैठकर एक घण्टे तक क्या वार्तालाप हुई पश्चात अपने साथ हुए घटना में नजमुद्दीन खान की संदिग्ध भूमिका की जानकारी देने के पश्चात एवं उसके  बुलाए गए बाहर से आए  तीन अज्ञात व्यक्तियों के विरुद्ध नामजद रिपोर्ट क्यो नही लिखी गई ? 

* रात्रि को आवेदक हैदर अली को राखी पुलिस द्वारा मोबाइल से अपने परिजनों को क्यूं सूचना नही देने दिया गया जबकि नियम के अनुसार यह कृत्य मानव अधिकार के हनन के तहत आता है 

* आवेदक हैदर अली के मोबाइल के संपूर्ण डाटा को विभागीय कर्मचारियों द्वारा क्यो डिलीट कर दिया गया ? 

* जैसा कि पुलिस द्वारा यह कथन कि सड़क में जांच के दौरान रिवाल्वर बरामद किया गया जबकि आवेदक  हैदर अली का कथन है कि जब उसके साथ अज्ञात तीन व्यक्ति बलात उसे उठाकर ले जाने का प्रयास कर रहे थे तब आवेदक के चीख पुकार करने से आवागमन करते राहगीरों द्वारा 112 को डायल कर बुलवाया गया उसका भी कॉल डिटेल निकलने की मांग की गई ?  

*  रात्रि को 10-11 बजे राखी थाना में ही  जब आवेदक लॉकआप में था तभी बाहर जाकर उसकी डस्टर गाड़ी से रिवल्वर (कट्टा)कैसे बरामद किया गया ? सार्वजनिक रूप से रिवाल्वर (कट्टा) क्यों बरामद नही किया गया ? 

* वही आवेदक हैदर अली का कथन अनुसार जब भीड़ एकत्रित हो गई तब उन तीनों अज्ञात व्यक्ति द्वारा स्वयं को गरियाबंद पुलिस   बताया गया जबकिं आवेदक हैदर अली का कथन कि यदि वे  गरियाबंद पुलिस थे तो उसे गला दबा उठाकर कहां ले जाना चाहते थे ?  

* उसने सवाल खड़ा किया है कि क्या मैं हैदर अली कोई निगरानी शुदा या हिस्ट्री शीटर बदमाश था जो मुझे रात्रि को केवल तीन अज्ञात व्यक्ति तथाकथित (पुलिस)ही पहले गिरफ्तार करने पहुंची थी मेरे बचाव के चिखने पर  मैच देखकर वापस लौट रहे कुछ राहगीरों द्वारा 112 को बुलाया गया यदि 112 पेट्रोलिंग नही आती तो संभवतः उसके साथ कोई भयंकर अप्रिय घटना घट सकती थी ?

* यदि वे गरियाबंद पुलिस वाले थे तो क्या उनके द्वारा संबन्धित थाना या स्थानीय उच्च अधिकारियों को अपने आगमन की मंशा, आमद एवं उपस्थिति दर्ज करवाई थी ? 

* जबकिं रिवाल्वर थाना में ला कर रात्रि में ही तीन तथाकथित अज्ञात (पुलिस) व्यक्तियों द्वारा गाड़ी से निकलवाया गया जिन के द्वारा घटना स्थल से ही थाना तक आवेदक की सफेद डस्टर गाड़ी चला कर लाया गया था कहीं उनके द्वारा ही तो रिवाल्वर (कट्टा) रख आवेदक को फंसाने नजमुद्दीन के साथ मिलकर साजिश नही किया गया यह भी जांच का विषय है ?

* पश्चात गवाह के रूप में ग्राम राखी के स्थानीय सरपंच एव एक अन्य ग्रामीण को गवाह के रूप में अंकित कर गवाह बनाया गया ? गवाह बने ग्राम राखी के सरपंच एवं अन्य एक ग्रामीण को राखी पुलिस ने और कितने प्रकरण में गवाह बनाकर प्रस्तुत किया गया है ? इसकी भी जांच होनी चाहिए

 * आवेदक हैदर अली का कथन है कि जब छ से आठ घण्टे तक पीपीई कीट की राशि दिलाने और अधिकारी से मिलवाने के उद्देश्य से नजमुद्दीन खान द्वारा उसे नवा रायपुर क्षेत्र में घुमाया गया तथा उसके द्वारा बारबार नजमुद्दीन का नाम लेने पर उसके नाम को रिपोर्ट में  दर्ज क्यो नही किया गया ?

*  उक्त सन्देह की पुष्टि हेतु आवेदक द्वारा जांच अधिकारी  से 5 मार्च के समस्त कॉल डिटेल एवं भ्रमण के दौरान लगे नवा रायपुर स्थित विभिन्न चौक,थाना में लगे सीसीटीवी फुटेज की जांच की बात भी लिखी है आवेदक के कथनानुसार ऐसा ज्ञात होता है कि उद्योग विभाग के प्रबन्धक त्रिवेदी के संरक्षण में कार्य करने वाले नजमुद्दीन द्वारा फर्जी बिल बाउचर के माध्यम से आवेदक हैदर अली से पीपीई कीट सप्लाई के नाम पर लाखों करोड़ों का गड़बड़,घोटाला और भ्रष्टाचार, को अंजाम दिया गया  तथा हैदर अली द्वारा बारबार राशि तकाजा करने पर नजमुद्दीन जो स्वयं मूल गरियाबंद निवासी है के द्वारा गरियाबंद से अज्ञात  तथाकथित तीन अज्ञात (पुलिस) व्यक्तियों  एवं राखी थाना पुलिस की मिलीभगत कर के किसी बड़े वारदात को अंजाम देने के फिराक में था जबकि घटना दिनांक पांच मार्च 2021के पश्चात नजमुद्दीन का कोई अतापता नही है इसके बावजूद  पुलिस उसे पूरा संरक्षण दे रही है तथा प्रकरण में उसके एवं तीन अन्य अज्ञात व्यक्तियों की भूमिका अब भी संदिग्ध बनी हुई है यहां तक जांच आवेदन प्रस्तुत पश्चात आवेदक को अप्रत्यक्ष रूप से धमकाने जैसा कि यदि किसी प्रकार का आवेदन जांच हेतु दिया जाता है तो किसी भी दो तीन लोगों को गिरफ्तार कर उनसे जबरन आवेदक हैदर अली का नाम लेकर उसे पुनः अन्य अपराध में फंसाने की बात टी. आई. राखी थाना के द्वारा कही जा चुकी है यही नही दिनांक 21 जून को जब बयान लिया जा रहा था तब भी टी. आई.अंसारी द्वारा फटकार लगाते हुए आवेदकों को फालतू कार्य के लिए समय नही है कह कर भयादोहन कर जांच  को प्रभावित करने का प्रयास किया गया तथा बयान देने वालों को वहां से बगैर  बयान दिए जाने को कहा - जब उनसे यह बात लिखित में देने कहा गया तब कहीं बयान दर्ज करने दिया गया इससे ज्ञात होता है कि साजिश कर्ता नजमुद्दीन खान, गरियाबंद से तथा कथित आए तीनअज्ञात (पुलिस) व्यक्तियों, एवं रखी पुलिस द्वारा मिलकर आवेदक हैदर के विरुद्ध साजिश के तहत कार्यवाही की गई उक्त सन्दर्भ मे आवेदक हैदर अली का कहना है यदि नजमुद्दीन का नाम प्राथमिक रिपोर्ट सहित  मीडिया में आने से उधोग विभाग में पीपीई किट क्रय मामले में  एक बड़े फर्जी प्रकरण का भंडाफोड़ हो सकता है इसलिए भी ऊपरी प्रशासनिक एवं राजनीतिक  दबाव के चलते पुलिस द्वारा नजमुद्दीन खान का नाम प्रकरण में नही आने दिया जा रहा है तथा उसके द्वारा सप्लाई की गई पीपीई किट की समस्त राशि हड़पने तथा उसे मानसिक  आर्थिक,सामाजिक, और शारीरिक प्रताड़ना के उद्देश्य से साजिश कर्ताओं से मिलकर कूट रचित प्रकरण बनाया गया है जिसकी जांच आवश्यक है आवेदक हैदर अली ने आशंका जताई है कि मेरे द्वारा पीपीई किट सप्लाई किया गया तथा मुझे अब तक राशि प्राप्त नही हुई है जिसे लेकर ही उद्योग विभाग के अधिकारीयों और नजमुद्दीन खान द्वारा सुनियोजित षड्यंत्र रचकर मुझे विद्वेष पूर्ण फंसाने जाल बिछाया गया है तथा पीपीई किट क्रय में गड़बड़ घोटाला कर भ्रष्टाचार को अंजाम दिए जाने की आशंका व्यक्त की है आवेदक हैदर अली द्वारा यह भी कहा गया है कि उक्त प्रकरण के सामने आने पर  मेरे जानमाल का बड़ा खतरा हो सकता है यदि भविष्य में किसी प्रकार की  कोई भी घटना या दुर्घटना मेरे साथ  घटित होती है तो उसकी समस्त जिम्मेदारी नजमुद्दीन खान को माने जाने की बात भी कही है  यही नही फर्जी प्रकरण में फंसाए जाने से क्षुब्ध हैदर अली द्वारा इसकी जांच हेतु  देश के उच्च स्तरीय विभाग में आवेदन देकर निष्पक्ष जांच की मांग भी करने का निर्णय लिया है ताकि दूध का दूध और पानी का पानी हो सके

शनिवार, 19 जून 2021

वक्फ सर्वेक्षण 2021 प्रारंभ: राज्य वक्फ बोर्ड ने मुस्लिम जमात से सर्वे कार्य में सहयोग की अपील

 वक्फ सर्वेक्षण 2021 प्रारंभ: राज्य वक्फ बोर्ड ने मुस्लिम जमात से सर्वे कार्य में सहयोग की अपील 

 रायपुर।छत्तीसगढ़ राज्य वक़्फ बोर्ड द्वारा वक़्फ सम्पत्तियों के सर्वेक्षण के लिए “वक्फ सर्वेक्षण 2021” का कार्य प्रारंभ कर दिया गया है। राज्य वक़्फ बोर्ड ने सभी मुतवल्ली साहबानो एवं मुस्लिम जमात से सर्वे कार्य में सक्रिय सहयोग की अपील की है।

वक्फ सर्वेक्षण 2021 प्रारंभ: राज्य वक्फ बोर्ड ने मुस्लिम जमात से सर्वे कार्य में सहयोग की अपील 


छत्तीसगढ़ राज्य वक़्फ बोर्ड के अधिकारियों ने आज यहां बताया कि सर्वे “वक्फ सर्वेक्षण 2021” प्रारंभ किया गया है। इसके लिए प्रत्येक जिले के अतिरिक्त कलेक्टर अथवा वरिष्ठ डिप्टी कलेक्टर को नोडल अधिकारी के रूप में मनोनित किया गया है। यह वक़्फ नोडल अधिकारी वक्फ सर्वेक्षण का कार्य अपनी देखरेख में संपादित कराएंगे। सर्वेक्षण कार्य परिणाम मूलक हो इस हेतु यह आवश्यक है कि मुस्लिम समुदाय का एवं विशेष कर मस्जिद/दरगाह/कब्रिस्तान व अन्य के मुतवल्लीगणों का सक्रिय सहयोग एवं समन्वय राजस्व विभाग के अधिकारियों के साथ हो। इस सर्वे कार्य में शासकीय राजपत्र 1989, औकाफ की पंजी एवं राज्य गठन पश्चात वाकिफ द्वारा वक्फ की गई संपत्तियों को सर्वेक्षण कार्य में लिया जाएगा। इस प्रकार पूरे राज्य में पृथक-पृथक जिलों एवं गांवों, कस्बों में स्थित वक्फ संपत्ति का चिन्हांकन होगा तथा इन संपत्तियों को राजस्व रिकार्ड में अद्यतन किया जा सकेगा। इस प्रक्रिया से वक्फ संपत्ति विलुप्त होने से बचेगी साथ ही राजस्व रिकार्ड में अद्यतन होने से अतिक्रमण, विलोपन जैसे मुद्दों से बचा जा सकेगा।

राज्य वक्फ बोर्ड द्वारा प्रत्येक जिले में दो-तीन सक्रिय मुस्लिम समुदाय के मुतवल्लीगण एवं अन्य संभ्रान्त व्यक्तियों का भी चिन्हांकन किया है, जिससे वे जिला स्तर पर वक्फ नोडल अधिकारियों से समन्वय कर सर्वे कार्य में आवश्यक सहयोग दे सकें। राज्य वक्फ बोर्ड द्वारा मोद्दबाना गुजारिश की गई है कि आगे बढ़कर ज्यादा से ज्यादा सभी वक्फ संपत्तियों को वक्फ सर्वेक्षण में शामिल कराया जा सके.


शुक्रवार, 11 जून 2021

छग में शनि भक्तों का एक ग्राम ऐसा भी जहां के भक्तों ने शनि मंदिर ही बना डाला

 छग में शनि भक्तों का एक ग्राम ऐसा भी जहां के भक्तों ने शनि मंदिर ही बना डाला 

अलताफ हुसैन 7869247588

रायपुर (फॉरेस्ट क्राइम न्यूज़)धार्मिक आस्था से जुड़े व्यक्तियों  में अमूमन यह देखने मे मिलता है कि वे अपने इष्ट आराध्य देवता के रूप में भगवान शंकर,माता लक्ष्मी,विष्णु,ब्रह्मा,प्रभु राम सीता, बजरंगबली,कृष्णा भगवान को सर्वाधिक महत्व देते है और इन्ही इष्ट देवताओं, ईश्वर की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा कर पूजा अर्चना भी करते है परन्तु ऐसा बहुत कम दृष्टिगोचर होता है कि जब ऐसे देवता जिनकी वक्र दृष्टि पढ़ने से ही राजा रंक बन जाता है और रंक राजा बन जाता है ऐसे देवता से लोग पूर्व से ही भय खाते है केवल दान पुण्य कर के ही इन्हें प्रसन्न करने एवं समस्त दुख हरने की पूजा, प्रार्थना, अर्चना करते है उनकी वक्र दृष्टि और प्रकोप से बचने यथा संभव प्रयास किया जाता है ऐसे देवता का मंदिर यदाकदा कुछ स्थल में ही देखने मिलता है इसकी वजह प्रत्येक भक्ति भाव रखने वाला व्यक्ति इनके प्रकोप से बचना चाहता है तथा घर में कभी भी ऐसे देवता का छाया चित्र भी लगाने से भय खाता है वह  देवता कोई और नही बल्कि सूर्य पुत्र शनि है जिनके नाम से ही प्रत्येक भक्त  भयभीत हो जाता है परंतु छग प्रदेश का एक ऐसा भी ग्राम है जहां सभी लोग शनि देव को अपना इष्ट देव के रूप में मानते है और प्रत्येक शनिवार उनकी उपासना  आराधना,उपवास, कर सुख समृद्धि की कामना करते है ग्रामीणों के शनि भगवान के प्रगढ़ अटूट श्रद्धा और आस्था को देखते हुए ग्राम प्रधान सरपंच ने ग्राम में एक विशल शनि मन्दिर  ही बनवा डाला और इसके लिए बाकायदा तीन दिनों तक अनवरत पूजा,पाठ,प्राण प्रतिष्ठा,धार्मिक अनुष्ठान का आयोजन रखकर एक उत्सव का वातावरण निर्मित कर दिया ऐसा ग्राम आरंग ब्लॉक के अंतर्गत ग्राम निसदा है जहां की कुल आबादी अपने इष्ट देव शनि महाराज के मूर्ति स्थापना को लेकर काफी उत्साहित है वह भी शनि मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम जब शनि जयंती के अवसर पर हो तो भक्तों में उत्साह का संचार दोगुना होना स्वभाविक बन जाता है   

             रायपुर से मात्र चालीस किलोमीटर दूर आरंग ब्लॉक के अंतर्गत स्थित ग्राम निसदा में आठ जून से दस जून के मध्य शनि  जयंती के अवसर  पर तीन दिवसीय कार्यक्रम का भव्य आयोजन ग्राम निसदा के सरपंच महेश्वरी देव कुमार साहू के नेतृत्व में संपन्न हुआ जिसमें आठ तारीख को ग्राम में ही कलश यात्रा का आयोजन किया गया अगले दिवस नौ तारीख को मूर्ति प्रतिष्ठा पूर्व धन धान्य,एवं जलाभिषेक,फल,फूल दान  कार्यक्रम संपन्न हुआ जिसमे ग्राम वासियों सहित आसपास के मुख्य अतिथियों और प्रबुद्ध नागरिकों की गरिमामयी उपस्थित में संपन्न हुआ उक्त कार्यक्रम में भाजपा के वरिष्ठ मंत्री चन्द्रशेखर साहू विशेष रूप से उपस्थित होकर मुख्य अतिथी के आसन्दी से संबोधित करते हुए  उत्साहित शनि भक्तों को सफल कार्यक्रम की बधाई देते हुए कहा कि अंचल में इस प्रकार का शनि मंदिर की स्थापना वह भी पूरे विधि विधान और भव्यता के साथ क्षेत्र में  कहीं भी स्थापित नही किया यह ग्राम वासियों का शनि देव के प्रति श्रद्धा,और अटूट विश्वास का ही परिणाम है कि राजधानी से सटे ग्राम में शनिदेव के मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा हुई इससे यह क्षेत्र न केवल आस्था का केंद्र बिंदु बन गया बल्कि क्षेत्र को पर्यटन स्थल के रूप में भी चिन्हांकित करने का सुअवसर प्राप्त होगा इसके लिए उन्होंने सरपंच प्रतिनिधि देवकुमार साहू एवं समस्त ग्राम वासियों को बधाई दी  सरपंच महेश्वरी साहू ने बताया कि प्रभु शनिदेव के मूर्ति प्राण प्रतिष्ठा के कार्यक्रम से वह काफी प्रफुल्लित और आल्हादित है कार्यक्रम में जनभागीदारी से निर्मित मंदिर के लिए समस्त अतिथियों एवं ग्रामवासियों का हृदय  से आभार व्यक्त किया वही सरपंच  प्रतिनिधि महेश्वरी देवकुमार साहू ने बताया कि संपूर्ण ग्राम वासी संकटमोचक, कष्टनिवारक,धन धान्य,प्रतिष्ठा के देवता छायानन्दन  शनिदेव महाराज पर अटूट श्रद्धा रखते है तथा ग्राम की महिलाएं प्रत्येक शनिवार को उपवास एव पूजा करती है जिनके श्रद्धा एवं अटूट विश्वास को ध्यान में रखते हुएग्राम निसदा को धार्मिक केंद्र बिंदु  के रूप में  शनिदेव महाराज की मूर्ति स्थापना की गई  श्री देव साहू ने आगे  बताया कि यह सब जन सहयोग से संपन्न हुआ इसमें मूर्ति स्थापना से लेकर भंडारे का आयोजन समाजसेवी श्री लाल चंद्र अग्रवाल सराईपाली वालों के योगदान से संपन्न हुआ उन्होंने ही समस्त व्यवस्था पर अपना अमूल्य योगदान दिया ग्राम निसदा के उक्त सफल कार्यक्रम से अति उत्साहित सरपंच प्रतिनिधि देवकुमार साहू ने बताया कि ग्राम निसदा मे प्रति वर्ष मनाए जाने वाले शनि जयंती के अवसर पर तीन दिवसीय भव्य जयंती का आयोजन किया जाएगा जिसमे मेला मड़ाई,एवं धार्मिक प्रवचन कार्यक्रम के भव्य आयोजन किए जाएंगे 

      और यह मंदिर आँचल में केंद्र बिंदु होगा वही उड़ीसा से पधारे पंडित मिश्रा जी ने बताया कि सूर्य पुत्र शनि वास्तव में भगवान शिव की प्रतिरूप है क्योंकि शिव लिंग सदैव काले पत्थर से निर्मित होता है वही रंग  शनिदेव का भी है सूर्य देव के प्रतिछाया होने के कारण तम के देवता है इनकी दृष्टि से धन धन्य,प्रतिष्ठा में व्यापक वृद्धि होती है, इसलिए इनके मूर्ति स्थापना के पूर्व भगवान शिव जी की पूजा की गई लंका पति रावण के द्वारा अंधेरे कुंए में वर्षों तक शनिदेव को बंधक बना कर रखा था जिन्हें राम भक्त हनुमान जी ने मुक्त कराया तभी उन्होंने श्री हनुमान जी को वरदान दिया था कि जो भी तुम्हारी पूजा करेगा मैं उस पर से अपनी वक्र  दृष्टि हटा लूंगा यही कारण है कि शनि की वक्र दृष्टि वाले भक्तों के कष्टों का निवारण हेतु बजरंगबली की पूजा भी की जाती है परन्तु शनि प्रकोप से यदि उद्धार पाना है तो शनि भगवान की पूजा अर्चना करना प्रत्येक उपासक को अनिवार्य हो जाता है राजनीति,और प्रतिष्ठा,धन,धन्य,वैभव की प्राप्ति केवल और केवल शनि देव के शरण मे  आकर ही प्राप्त की जा सकती है  इसलिए भी शनिदेव की पूजा का महत्व काफी बढ़ गया है 

मंगलवार, 8 जून 2021

25 जून से शुरू होगी घर पहुंच पौधा वितरण: वन मंत्री अकबर बोले- इस वर्ष 2करोड़ 27 हजार पौधों के वितरण का लक्ष्य*

 

25 जून से शुरू होगी घर पहुंच पौधा वितरण: वन मंत्री अकबर बोले- इस वर्ष 2करोड़ 27 हजार पौधों के वितरण का लक्ष्य

रायपुर। छत्तीसगढ़ में 25 जून से घर पहुंच पौध वितरण की शुरूआत की जाएगी. वन मंत्री मोहम्मद अकबर ने कहा कि वन विभाग ने इस वर्ष 2 करोड़ 27 लाख 34 हजार पौधों के वितरण का लक्ष्य रखा है. इसके लिए वर्तमान में समस्त 275 विभागीय नर्सरियों में 284 प्रजातियों के 3 करोड़ 89 लाख पौधे उपलब्ध हैं. राज्य में पौध वितरण कार्यक्रम के सुचारू संचालन के लिए प्रमुख सचिव वन मनोज कुमार पिंगुआ और प्रधान मुख्य वन संरक्षक राकेश चतुर्वेदी द्वारा सभी वन मंडलाधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए गए हैं.



वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग वर्ष 2021 में विभिन्न योजनाओं के अंतर्गत 2 करोड़ 27 लाख 34 हजार पौधों का वितरण करेगी. हरियाली प्रसार योजना के तहत 67 लाख 36 हजार 598 पौधे. मनरेगा योजना के तहत 1 करोड़ 53 लाख 16 हजार 302 पौधे. पौधा प्रदाय योजना के तहत 81 हजार 100 पौधे और अन्य योजना के अंतर्गत 6 लाख पौधों का वितरण शामिल है.



निर्धारित लक्ष्य के अनुसार वन मंडलवार बिलासपुर में 2 लाख, मरवाही में 8 लाख 20 हजार, कोरबा में 3 लाख 25 हजार, कटघोरा में 01 लाख 50 हजार और रायगढ़ में 12 लाख पौधों का वितरण किया जाएगा. वन मंडलवार धरमजयगढ़ में 5 लाख, जांजगीर-चांपा में 5 लाख, मुंगेली में 5 लाख, अनुसंधान एवं विस्तार बिलासपुर में 6 लाख पौधों के वितरण का लक्ष्य रखा गया है. वन मंडलवार दुर्ग में 4 लाख 3 हजार, बालोद में एक लाख 40 हजार, राजनांदगांव में 10 लाख 70 हजार, खैरागढ़ में 5 लाख 14 हजार 893 और कवर्धा वन मंडल में 8 लाख 90 हजार 80 पौधों का वितरण किया जाएगा.
इसी तरह वन मंडलवार बस्तर में 12 लाख 5 हजार, अनु एवं वि. जगदलपुर में 3 लाख, दंतेवाड़ा में 3 लाख 40 हजार 86, सुकमा में 11 लाख 70 हजार और बीजापुर वन मंडल में 6 लाख 99 हजार 760 पौधों का वितरण किया जाएगा. वन मंडलवार कांकेर में 5 लाख 35 हजार 890, केशकाल में 3 लाख 94 हजार 264, कोण्डागांव में 4 लाख 13 हजार 574, नारायणपुर में 40 हजार, पूर्व भानुप्रतापपुर में 3 लाख 21 हजार 370 और पश्चिम भानुप्रतापपुर वन मंडल में 4 लाख 35 हजार पौधों का वितरण किया जाएगा।
वन मंडलवार रायपुर में 10 लाख 94 हजार 755, बलौदाबाजार में एक लाख 50 हजार, महासमुंद में 15 लाख 75 हजार, गरियाबंद में 6 लाख, अनु. एवं वि. में दो लाख और धमतरी वन मंडल में 6 लाख 2 हजार 597 पौधों का वितरण किया जाएगा. इसी तरह वन मंडलवार सरगुजा में 8 लाख पौधों का वितरण किया जाएगा. सूरजपुर वन मंडल में 7 लाख 64 हजार 970, बलरामपुर में 16 लाख 54 हजार, कोरिया में 5 लाख 34 हजार 761, मनेन्द्रगढ़ में 6 लाख 40 हजार और जशपुर वन मंडल में 4 लाख 50 हजार पौधों का वितरण किया जाएगा ।

वन मंत्री मोहम्मद अकबर ने कैंपा मद से दो हजार दो सौ उनतीस करोड रुपये 27 हजार 69 कार्यों के लिये स्वीकृत किए,- अधिकारियों को तत्परता से कार्य के दिए निर्देश

 


 वन मंत्री मोहम्मद अकबर ने कैंपा मद से दो हजार दो सौ उनतीस करोड रुपये 27 हजार 69 कार्यों के लिये स्वीकृत किए,- अधिकारियों को तत्परता से कार्य के दिए निर्देश


रायपुर (फॉरेस्ट क्राइम न्यूज़) वर्ष 2018-19एवं -21-22के लिए दो हजार दो सौ उनतीस करोड़ के  27 हजार  69 कार्यों की स्वीकृति वन रोपण निधि प्रबन्धन एव योजना प्राधिकरण (कैम्पा) मद से छग के वन मंत्री मोहम्मद अकबर के द्वारा दी गई समीक्षा बैठक में वन मंत्री मोहम्मद अकबर ने कार्यों में कसावट लाने के निर्देश दिए तथा समय समय पर अधिकारियों को निर्माण  क्षेत्र में भ्रमण कर  कार्यों की पड़ताल कर उसके गुणवत्ता पर भी ध्यान देने जोर दिया वन मंत्री मोहम्मद अकबर  गत वर्ष एक हजार तीन सौ 9 करोड़ के  व्यय से 19 हजार 147 कार्य विभाग  द्वारा संपादित कार्यो के पूरा किए जाने की समीक्षा कर रहे थे सोमवार को हुए इस बैठक में  नवीन कार्यों को ततपरता से कराए जाने के आवश्यक दिशा निर्देध दिए



 विभाग द्वारा कराए गए 2018-19 के स्वीकृत समस्त कार्य लंबित न हो उस पर भी संज्ञान लिया यही नही छग के अन्य क्षेत्र के विभागीय कार्यों में हो रही देरी को लेकर अपनी नाराजगी जाहिर की तथा शीघ्र लंबित कार्य पूर्ण करने के दिशा निर्देश दिए उन्होंने समस्त निर्माण आवसीय,कार्यालयों कार्यों को पूर्ण करने के  निर्देश दिए 

   समीक्षा बैठक में वन विभाग के प्रमुख सचिव मनोज कुमार पिंगुआ, प्रधान मुख्य वन संरक्षक राकेश चतुर्वेदी,कैंपा के मुख्य कार्यपालन अधिकारी, वी.श्रीनिवास राव,एवं,समस्त मुख्य वन संरक्षक,वन मण्डलाधिकारी विशेष रूप से उपस्थित थे 

शनिवार, 5 जून 2021

कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम के निर्देश पर पार्षद आकाश तिवारी ने किया अच्छे दिन का विरोध*

 *कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम के निर्देश पर पार्षद आकाश तिवारी ने किया अच्छे दिन  का विरोध*



 रायपुर देश के प्रधानमंत्री मोदी जी *अच्छे दिनों* का वादा करके और महंगाई का बहाना बनाकर सत्ता में आये थे। उनके दावों के जाल में फँसकर भारत की जनता ने उन्हें सत्ता सौंप दी। लेकिन आज 7 साल बाद अच्छे दिनों की आस में बैठी जनता को पुराने दिन याद आ रहे हैं। पहले 80/- रू. लीटर मिलने वाला खाने का तेल अच्छे दिन आने के बाद 200/- रू. लीटर पार कर गया। 400/- रू. में मिलने वाला सिलेण्डर 900/- रू. का हो गया। 60/- रू. लीटर का पेट्रोल अच्छे दिन आने के बाद 100/- लीटर से ज़्यादा आ गया। आम जनता समझ नहीं पा रही है कि ये कौन से अच्छे दिन है ?



-*शहर जिला कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष* के निर्देश पर व *रायपुर उत्तर विधायक कुलदीप जुनेजा जी* के मार्गदर्शन में *वार्ड 35 के पार्षद एवं एमआईसी सदस्य आकाश तिवारी* ने अपने घर के बाहर महंगाई के विरोध में काला कपड़ा पहनकर प्रदर्शन किया। आकाश तिवारी ने अपने सुपर 30 टीम के साथ सिलेण्डर, पेट्रोल, राशन, तेल रखकर *मोदी जी के अच्छे दिनों को आईना दिखाने का काम किया* इस विरोध प्रदर्शन में गुरू घासीदास बे लॉक कांग्रेस अध्यक्षा दीपा बग्गा जी ने सक्रिय सहभागिता निभाई ।



आकाश तिवारी का कहना है कि जनता ने मोदी जी को जिन उम्मीदों के साथ चुना है, मोदी जी को अड़ानी अंबानी के अलावा जनता की उन उम्मीदों का भी ख़्याल रखना चाहिये?क्या देश में अच्छे दिन का अधिकार केवल अड़ानी अंबानी को है ? 

क्या कथित भाजपा के १० करोड़ कार्यकर्ताओं को मोदी के अच्छे दिनों को भुगतना नहीं पड़ रहा है?


आकाश तिवारी ने कहा कि कोरोना काल के कारण जनता मजबूरी में चुप है, आपदाकाल ख़त्म होने के बाद जनता केन्द्र सरकार को सबक़ सिखायेगी और मोदी के अच्छे दिन को ख़त्म करेगी।

शुक्रवार, 4 जून 2021

नवा रायपुर के ग्राम डोमा स्थित प्राकृतिक वन क्षेत्र में एक करोड़ अड़तालीस लाख रुपये का स्तरहीन निर्माण कार्य

 नवा रायपुर के ग्राम डोमा स्थित प्राकृतिक वन क्षेत्र में एक करोड़ अड़तालीस लाख रुपये का स्तरहीन निर्माण कार्य 

अलताफ हुसैन 7869247588

रायपुर (फॉरेस्ट क्राइम न्यूज़)वैसे तो प्रदेश का वन विभाग प्रदेश भर के वनों के संरक्षण संवर्धन हेतु कटिबद्ध है  इसके लिए विभाग द्वारा अनेक योजनाओं के माध्यम से नए नए जतन करता है कभी बिगड़े वनों में पुनः वृक्षारोपण कर उसे प्राकृतिक स्वरूप प्रदान किया जाता है कभी वन्य प्राणियों के सुरक्षात्मक दृष्टिकोण से वनों के भीतरी क्षेत्रों में तालाब खनन कर ग्रीष्म ऋतु में उनकी जल पिपासा को राहत प्रदान किया जाता है वही वनवासियों के सहज सुलभ आवागमन हेतु कच्चे मुरुमी मार्ग,रपटा, पुलिया एवं अग्नि वॉच टॉवर का निर्माण किया जाता है ताकि वनों को आग से बचाया जा सके इन सब के बावजूद वनों के संरक्षण हेतु कराए जाने वाले निर्माण  कार्यों की गुणवत्ता में कहीं न कहीं खामियां और कमी बनी रहती है कमीशनखोरी,के चलते औरअधिकारियों द्वारा  गड़बड़ घोटाले के साथ भ्रष्टाचार को अंजाम देने के कारण करोड़ो की राशि व्यय करने के बाद भी  निर्माण कार्य की गुणवत्ता लगभग समाप्त हो जाती है   

ताज़ा प्रकरण नवा रायपुर के ग्राम घोरभट्टी,डोमा,ऊगेतेरा के मध्य प्राकृतिक वनों के संरक्षण से जुड़ा हुआ है  जहां पर लगभग आठ किलोमीटर के वृहद भूभाग परिधि में जहां प्राकृतिक वन का विस्तार था जिसके संरक्षण हेतु उसके चारों ओर ब्रिक्स ईट की जुड़ाई कर लोहे के एंगल में फेंसिंग की जा रही है प्राकृतिक वन परिक्षेत्र के फेंसिंग में किए जाने वाले सीमेंट जुड़ाई इतनी घटिया है कि यह कभी भी भरभरा कर ढह सकती है क्योंकि जुड़ाई निर्माण कार्य मे न ही सही ढंग से सीमेंट मिलाया जा रहा है और न ही बेस को मजबूती प्रदान की जा रही है जिससे इसकी गुणवत्ता सन्देह जनक हो गई है इस संदर्भ में वहां उपस्थित ठेकेदार कर्मचारी अश्वन केशरवानी से चर्चा किया गया तो उसने ठेकेदार का नाम  वी आई पी रोड  स्थित ग्राम फुंडहर निवासी  सुनील कुमार सिंह  बताया जिसके ठेके में उक्त निर्माण कार्य का होना बताया जबकि इसकी निविदा प्रकाशन को लेकर भी संशय की स्थिति निर्मित है कि किसी राजनीतिक एप्रोच के माध्यम से निर्माण कार्य प्राप्त किया गया जबकिं नवा रायपुर के प्रभारी साधेलाल बंजारे ने इसके निविदा प्रकाशन पश्चात ठेकेदार सुनील कुमार सिंह को ठेका प्राप्त होना बताया 

बहरहाल, ठेका पद्धति जिस प्रकार भी किया गया परन्तु निर्माण स्थल में जब इसकी गुणवत्ता का परीक्षण किया गया तब निम्न स्तर के रेती सीमेंट के मसाले से ब्रिक्स ईट की जुड़ाई करते पाया गया स्थिति यह थी कि जब जुड़ाई किए गए सीमेंट मसाले को हाथ से कुरेदा गया तब वह भरभरा कर गिरने लगा इस तारतम्य में जब उपस्थित मुंशी अश्वन केशरवानी से पूछा गया तब उसने एक बोरी सीमेंट  में बीस धमेला रेती मिलाने की बात बताई जबकिं इतने रेती सीमेंट  की जुड़ाई  में काफी मजबूती आ जाती है वही साढ़े तीन फीट ऊंचे ब्रिक्स जुड़ाई दीवार में उसका बेस ही एक से डेढ़ फीट से लिया गया जिसमें जमीन के भीतर नाममात्र गिट्टी,रेती सीमेंट का मसाला मिलाकर  औपचारिकता निभाए जैसा प्रतीत होता है बेस के लिए किए गए गड्ढे में बेस गिट्टी डालने के पश्चात एक ईट लगाने पर वह बाहर दिखाई देने लग गया बता दे कि जब किसी भी निर्माण की नींव ही मजबूत नही होगी तब उसके मजबूती  की क्या गुणवत्ता होगी इसका अनुमान सहजता से लगाया जा सकता है मजदूरों द्वारा भी रोजी के संदर्भ में डेढ़ सौ रुपये तो मिस्त्री को 250 रुपये देने की बात बताई  जबकि कलेक्टर दर पर कुशल अकुशल श्रमिक का पारिश्रमिक भुगतान भी यहां होता दिखाई नही दे रहा है  वही चार फीट के लोहे के एंगल में तार फेंसिंग किया गया है  जिसे  एंगल में मात्र तारों से बांध दिया गया है जबकिं वही उपस्थित एक अन्य कर्मचारी ने बताया कि गुणवत्ता विहीन दीवार में लगाए गए लोहे के चार एंगल को ईट दीवार, तोड़कर चोरों ने उड़ा दिया है सवाल उठता है कि निर्माण कार्य के समय ही जब चोरों ने दीवार तोड़कर एंगल चोरी कर लिए तब भविष्य में स्तरहीन गुणवत्ता वाले दीवार मर इसकी पुनरावृत्ति नही होगी इसकी क्या ग्यारंटी ? उपस्थित दैनिक वेतन भोगी कर्मचारी देवकुमार ने बताया कि ग्राम डोमा में यह एक प्राकृतिक वन क्षेत्र है अवैध कटाई एव वन्य प्राणियों की सुरक्षा की दृष्टिकोण से वॉल निर्माण कर फेंसिंग कराई जा रही है वनक्षेत्र में हिरण,बारहसिंघा, जंगली बराह,सरीसृप जीव जंतु के अलावा अनेक पक्षियों का वास  है विशेष कर जंगली मादा वराह, अमूमन भूमि को अपने पैने  दांतो से खोद कर बड़ा गड्ढा करती है जहां वह प्रजनन प्रक्रिया पूर्ण करती है वह भी नवजात बच्चों की सुरक्षा हेतु ऐसे दीवार के समीप गड्ढा कर गुफा नुमा बनाती है जिसकी वजह से भी दीवार के क्षतिग्रस्त होने की संभावना बढ़ जाती है   ज्ञात हुआ है

कि वन विभाग द्वारा क्षेत्र को संरक्षित कर पर्यटन स्थल के रुप में विकसित करने की योजना बनाई  है परन्तु प्रारंभिक निर्माण कार्य मे ही जब स्तरहीन गुणवत्ता के निर्माण किए जाएंगे तो इसके सुरक्षा संरक्षण और संवर्धन की क्या अपेक्षा की जा सकती  जब  कि वन विभाग इस प्रोजेक्ट में इसकी लागत के बारे में ज्ञात हुआ है कि लगभग एक करोड़ अड़तालीस (1करोड़ 48 रुपये) लाख रुपये की लागत से आठ किलोमीटर लंबे वन परिधि क्षेत्र में सुरक्षा घेरा का निर्माण करवा  रही है वही सुरक्षा परिधि और गुणवत्ता की चर्चा की जाए तो खरोरा के समीप स्व  इंदिरा गांधी मोहरेंगा पर्यटन स्थल में भी लगभग 16 किलोमीटर परिधि में वॉल निर्माण कर लोहे के एंगल में तारों की फेंसिंग की जा रही है वहां डी एफ ओ विश्वेश कुमार झा साहब के कुशल नेतृत्व और मार्ग दर्शन में रायपुर रेंजर मिर्जा फिरोज बेग, के  दिशा निर्देश पर प्रभारी दीपक तिवारी के द्वारा निर्माण स्थल पर पूर्ण निगरानी और गुणवत्ता पर किसी प्रकार का समझौता न करते हुए संपूर्ण कार्य संपादित करवाया जा रहा है जिसका परिणाम यह होगा कि एक मजबूत टिकाऊ वॉल के साथ मजबूत तार फेंसिंग से वर्षों तक वन एवं वन प्राणियों की सुरक्षा बनी रहेगी जबकिं नवा रायपुर के नव पदस्थ रेंजर सतीश मिश्रा  ने बताया कि एस डी ओ साहब एव वे स्वयं निर्माण स्थल का भौतिक परीक्षण करके आए है जिसमे कुछ कमियां दिख रही है उस पर सुधार करने दिशा निर्देश दिए गए है जबकिं गुणवत्ता को लेकर भी उन्होंने किसी प्रकार का समझौता न करने की बात कही है यदि गुणवत्ता और टिकाऊपन ही नही होगा तो शासन द्वारा करोड़ों की लागत लगाने का कोई औचित्य ही नही ग्राम डोमा में आठ किलोमीटर दायरे में प्राकृतिक वन के संरक्षण हेतु किए जा रहे निर्माण के स्तरहीन गुणवत्ता को लेकर रायपुर डी एफ ओ साहब से मिल कर चर्चा करने का प्रयास किया गया परन्तु  उपस्थित न होने के कारण उनसे चर्चा नही हो पाई शीघ्र ही इस विषय पर उनसे चर्चा  पश्चात संपूर्ण तथ्यों पर प्रकाश डाला जाएगा

छग राज्य वन विकास निगम में चोरी बड़ी, खाद के साथ लोहे के ग्रिल में लगे साढ़े तीन लाख के भाले की हो चुकी चोरी, अधिकारी है अंजान

 छग राज्य वन विकास निगम में  चोरी बड़ी, खाद के साथ लोहे के ग्रिल में लगे साढ़े तीन लाख के भाले की हो चुकी चोरी, अधिकारी है अंजान

अलताफ हुसैन 7869247588

रायपुर (फॉरेस्ट क्राइम न्यूज़ )राजधानी वासियों के स्वास्थ्यगत सरोकारों की चिंता करते हुए हरियाली एवं स्वच्छ वातावरण निर्मित के उद्देश्य से छग  राज्य सरकार ने स्मार्ट योजना अंतर्गत  छग राज्य वन विकास निगम के माध्यम से लगभग बीस करोड़ की अधिक लागत राशि से ई ए सी कॉलोनी स्थित क्षेत्र में ऑक्सीजोन का निर्माण 21 हेक्टेयर वृहद भूभाग में किया  जिसमें देशी विदेशी  वृक्षों के अलावा आकर्षक फल फूल के पौधे भी शामिल है वही ऑक्सीजोन में आधुनिक व्यायाम उपकरण जोन, योग जोन, पथ वे , सहित बच्चो के खेल जोन इत्यादि भी सम्मिलित किए गए  यही नही ऑक्सीजोन  में हरियाली के मध्य सुकून के दो पल व्यतीत करने प्रदेश की विरासत को सहेजते हुए ,वनादिवासी संस्कृति की झलक निर्मित कर  बांस के पगोडे इत्यादि भी निर्माण किए गए है  इन सब की सुरक्षात्मक दृष्टिकोण से ऑक्सीजोन  के चारो ओर लाखो रुपयों की लागत  से लोहा निर्मित ग्रिल का निर्माण भी किया गया  परन्तु वर्तमान स्थिति को देखकर ज्ञात होता है कि यहां सुरक्षा के आभव में शनैः शनैः ऑक्सिजोन केवल अब उजड़ा चमन बन कर न रह जाए क्योंकि वर्ष 2017 पश्चात ऑक्सीजोन  का निर्माण कार्य जब प्रारंभ हुआ तब से ही छग राज्य वन विकास निगम के ऊपर बैठे भ्रष्ट अधिकारियों ने गड़बड़ी,अनियमितताऐं,और भ्रष्टाचार के माध्यम से करोड़ों रुपये की हेराफेरी कर घोटाला किया  बचा खुचा राजस्व की हानि अब  ऑक्सीजोन में चोरों के द्वारा किया जा रहा है

एक प्रकार से चोरों  के  वारे न्यारे हो रहे है प्रशासनिक ढिलाई , सुरक्षा और देखरेख के आभव में लगातार ऑक्सीजोन में  चोरी हो रही है तथा निगम अधिकारी पूरी तरह से शिकार पश्चात सुस्त पड़े अजगर सांप की भांति अपनी आंख मूंदे शिथिल अवस्था मे पड़े होने का स्वांग रचे हुए है क्योंकि हाल ही में यह भी ज्ञात हुआ था कि चोरों द्वारा लगभग दस हजार रुपये का ऑक्सीजोन  के अंदर निर्मित मंदिर के समीप  लगे लोहे  ग्रील के चोरी चले जाने   का समाचार स्थानीय दैनिक समाचार पत्रों मे प्रकाशन हुआ था फिर बड़े नाटकीय ढंग से  लोहे ग्रिल चोरो को भी पकड़ लिया गया अब इसके पीछे वास्तव में किसी अज्ञात चोर के हाथ होने की संभावना है या फिर छग राज्य वन विकास निगम के  कर्मचारी ही ऐसे ऑक्सीजोन में लगे  लोहे ग्रिल की वस्तुओं की हेराफेरी कर अपने पौ बारह कर रहे है 

बताते चलें कि छग राज्य वन विकास निगम के नवा रायपुर अटल नगर स्थित तूता नर्सरी में भी विगत कुछ माह पूर्व 35 बोरी डीएवीपी खाद की चोरी का मामला सामने आ चुका है जिसमे अज्ञात चोरों द्वारा नर्सरी के कक्ष में रखे 35 बोरी डीएवीपी खाद खिड़की तोड़ कर चोरी कर लिया गया था तब वहां स्थित चार चौकीदारों द्वारा आठ सौ, हजार रुपये में खाद को बेचे जाने की पुष्ट जानकारी भी छनकर सामने आई थी परन्तु इस संबन्ध में छग राज्य वन विकास निगम में ऊपर बैठे वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा क्या वैधानिक कार्यवाही किया गया यह अब तक  ज्ञात नही हुआ परन्तु इस प्रकार की चोरी की घटनाएं अनवरत प्रदेश के अन्य नर्सरी में घटित हो रहा है इस बात से कतई इंकार नही किया जा सकता क्योंकि बताते चले कि राजनांदगांव के पानाबरस परियोजना मंडल कार्यालय अंतर्गत नर्सरी सहित  सिरपुर रायकेरा नर्सरी एव वन विकास निगम के जमीनी स्तर पर किए जाने वाले ,प्लांटेशन एवं,अन्य औधौगिक परियोजनाओं,वानिकी कार्यों  में बड़ी मात्रा में लाखों,करोड़ों रुपये के खाद निगम द्वारा प्रति वर्ष क्रय किया जाता है जो जमीनी स्तर पर इसका  उपयोग कम ही  हो पाता है क्योंकि नर्सरी इत्यादि स्थल से क्रय किए गए  पौधों के पॉलीथिन बैग में पहले ही सौ दो सौ ग्राम खाद का उपयोग किया जा चुका होता है केवल रोपण स्थल पर ही मिट्टी के साथ अल्प मात्रा में खाद मिलाई जाती है या समय समय पर प्लांटेशन क्षेत्रो में किए जाने वाले निंदाई गुड़ाई  में  खाद का उपयोग होता है वास्तविक धरा में ऐसे कार्य स्थलों में खाद  क्रियान्वयन का उपयोग लगभग न के बराबर  किया जाता है परिणामतः ऐसे बचे  खाद का उपयोग कृषकों को बेचने का कार्य तथा प्राप्त राशि का लाभ मैदानी अमला भरपूर उठाता जिससे रोपण क्षेत्र के पेड़ पौधे खाद उपचार के अभाव में मरणासन्न स्थिति में पहुंच जाते है तथा कई प्लांटेशन फेल भी हो जाते है फिर भी प्रदेश के अनेक प्लांटेशन स्थल में निरीक्षक द्वारा परीक्षण कॉपी में सफल प्लांटेशन दर्ज कर अपने कार्यों के प्रति अपने गैर जिम्मेदार कर्मचारी होने का सही हस्ताक्षर कर देते है 




और गड़बड़ घोटाले में अप्रत्यक्ष रूप से सहभागी बन जाते है जबकि नियमानुसार किसी भी नए प्लांटेशन क्षेत्र में  बगैर मृदा,मिट्टी परीक्षण के भी पथरीले,चट्टानों वाले प्लांटेशन स्थल पर   पौधों का रोपण कर दिया जाता है जबकि उन्हें स्थल मृदा, मिट्टी के प्रकार, के परीक्षण पश्चात ही उपजाऊ स्थलों में  प्लांटेशन रोपण की अनुमति प्राप्त होती है इसके बावजूद वन विकास निगम कर्मी इस  प्रक्रियाओ का पालन नही करते तथा कोई भी रिक्त स्थल चयन कर चाहे वह मुरुमी स्थल हो पथरीली चट्टानी स्थल हो या अनुपयोगी पड़त भाटा भूमि ही क्यों न हो वहां प्लांटेशन रोपण कार्य कर दिया जाता है परिणामतः वहां खाद उपयोग के पश्चात भी रोपण क्षेत्र के पेड़ पौधों के जीवित होने एवं सर्वाइव  की संभावन क्षीण एव नाममात्र रह  जाती है  और वन विकास  निगम  को एक बड़ी राजस्व राशि  की हानि होती है इसके उदाहरण आज भी प्रदेश के अनेक आईपीडी प्लांटेशनो को देखकर हुए नुकसान का अनुमान सहजता से लगाया जा सकता जो पूरी तरह से फेल्वर हो चुके है जिनमे नवा रायपुर स्थित हरियर छत्तीसगढ़ योजना एव आईपीडी के तहत 2015-16 में वन विकास निगम  द्वारा ग्राम जौंदा जौंदी, उपरवारा,एवं जंगल सफारी मार्ग स्थित  कराए गए पथ रोपण एवं ब्लॉक प्लांटेशन पूरी तरह से नेस्तनाबूद हो चुके है जिन्हें उदाहरण स्वरूप लिया जा सकता है वही पानाबरस परियोजना मंडल अंतर्गत वर्ष 2019 में  दल्ली राजहरा के आईपीडी प्लांटेशन  पथ रोपण भी गाय,मवेशियों  के चारे के रूप में चट हो गया, भिलाई स्थित सेक्टरो में कराए गए प्लान्टेशन के वृक्षारोपण भी पूरी तरह तबाह बर्बाद हो चुके है इसकी एक वजह यह भी सामने आई है कि वन विकास निगम में ऊपर बैठे अधिकारियों का दौरा प्लांटेशन क्षेत्रों में कम ही होता है जिसकी वजह से अधिकारी,कर्मचारी बेलगाम हो जाते है तथा मर्जी होने पर ही यदाकदा प्लांटेशन क्षेत्र में अपनी उपस्थिति दर्ज कराते है यहां तक चौकीदार भी मन मुताबिक अपनी उपस्थिति दर्ज कराते है तथा रोपण स्थल प्लांटेशनो को भगवान भरोसे छोड़ दिया जाता है  जिससे मैदानी अधिकारी कर्मचारी भी बेखौफ हो जाते है तथा गड़बड़,घोटाला,और भ्रष्टाचार को खुल कर अंजाम देते है   फिर भी निगम ऐसे  नर्सरी,प्लांटेशन क्षेत्रों में खाद के उपयोग के लिए लाखों करोड़ों की राशि व्यय करता है जिसका उपयोग और आर्थिक लाभ पेड़ पौधों को कम वन विकास निगम अधिकारी कर्मचारी को बड़ी  मात्रा में मिलता है जो मैदानी स्तर के अधिकारी कर्मचारी ऐसे खाद को कम दामों पर स्थानीय कृषकों को बेच देते है जिससे इनकी अतिरिक्त आय हो जाती  है जबकि यह सवाल भी उठाया जाता रहा है कि निगम द्वारा क्रय किए गए खाद जो प्लांटेशनो एव वानिकी कार्य उपयोग में अधिक होता है इसका लिखित विवरणी की जांच भी कभी होती है अथवा नही ? या वरिष्ठ अधिकारियों के संज्ञान में होने के बावजूद ऐसे गड़बड़ घोटाले के खेल को अप्रत्यक्ष रूप से अनवरत प्रोत्साहित किया जाता रहा  है यह जांच का विषय है छग वन विकास निगम के मैदानी कर्मचारियों द्वारा खाद में गड़बड़ घोटाला और भ्रष्टाचार करने वाला यह तो एक छोटा सा मात्र उदाहरण है परन्तु सुरक्षा प्रहरी चौकीदारों  के होने के बाद यदि आंख से  कोई काजल चुरा ले तो इसे क्या कहा जाए जैसा कि ऊपर इस बात का स्पष्ट उल्लेख किया गया है कि पिछले माह मई में ऑक्सीजोन से लोहे ग्रिल चोरी हो जाने के समाचार दैनिक समाचार पत्रों में प्रकाशित हुए थे बाद में इसकी पुष्टि रेंजर ऋषि शर्मा ऑक्सीजोन प्रभारी शरद डड़सेना ने बताया कि गेट मिल गया एवं चोर भी पकड़े गए  गेट ग्रिल चोरी करने में आपराधिक किस्म के गंजेड़ी, नशेड़ियों का हाथ होना बताया गया सवाल यह उठता है कि गंजेड़ी नशेड़ी असमाजिक तत्व नज़रों  के सामने से एवं संभवतः ऑक्सीजोन  में सीसीटीवी लगे होने के बावजूद  लोहे का ग्रिल दिनदहाड़े चोरी करने की हिमाकत कर सकते है तो वहां उपस्थित चौकीदार क्या कर रहे थे फिर अधिकारियों के त्वरित एक्शन लेने में चोर भी पकड़े गए यह सब कैसे नाटकीय ढंग से हुआ यह तो निगम कर्मचारी ही बता सकते है  परन्तु  फिर भी चोरी का यह सिलसिला अब तक थमा नही है  ऑक्सीजोन में लगातार अब भी चोरी द्रुत गति से हो रही है ज्ञात हो कि ऑक्सीजोन में लगभग ग्यारह चौकीदार  कर्मचारीयों  की ड्यूटी सुबह शाम लगाई गई है इसके बावजूद  चोरी का सिलसिला थमने का नाम ही नही ले रहा है ऑक्सीजोन में अब चोरी  लोहे के लगे ग्रिल की नही बल्कि उसके ऊपर अलग से जड़े गए लोहे के भाले की लगातार चोरी हो रही है जिसकी लागत ही दस बीस हजार की नही बल्कि साढ़े तीन लाख रुपये है जो चोरों द्वारा पूरी तरह से तोड़ कर चुरा लिया गया  इस तारतम्य में फॉरेस्ट क्राइम  न्यूज़ के पास पूर्व से उपलब्ध कार्यालयीन दस्तावेज जो सूचना के अधिकार में प्राप्त किए गए थे  छग वन विकास निगम के पत्र क्रमांक /वविनि/भंडार/2019/ 3176/ जो दिनांक 07/11/2019/ को रामेश्वर प्रसाद सिन्हा राजातालाब नूरानी चौक स्थित ठेकेदार के नाम से लोहे के भाले नग 3500 नग प्रति भाला 92/रुपये की दर से 500 ग्राम प्रति भाला (एरो) का वजन से जिसकी डिजाइन,फिक्सिंग, मटेरियल,एवं टूल सहित  नियम की शर्तों  पर संपूर्ण  कार्य आदेश तात्कालिक मंडल प्रबन्धक बार नवापारा परियोजना मंडल के द्वारा स्वीकृति प्रदान कर जारी किया गया था  जो संपूर्ण ऑक्सीजोन  क्षेत्र की लोहे जाली में अतिरिक्त कार्य आदेश के माध्यम से कराया गया था हालांकि लौह धातु के भाले ग्रिल के साथ ही लगाए जाने का प्रावधान है परन्तु अतिरिक्त कार्यादेश निकाल कर साढ़े तीन लाख का भाला लगाना अनेक सन्देह को जन्म देता है जबकि इसका भुगतान उपरोक्त 92 रुपये की दर से कार्यादेश अनुसार किया जाना प्रस्तावित था परन्तु लोहे के भाला लगाने के पश्चात इसका भुगतान 100 रुपये की दर से किया गया जो 3500 भाले की कीमत साढ़े तीन लाख रुपये हो गयी जिस प्रकार 500 ग्राम अर्थात आधा किलो ग्राम का भाला लगाने के कार्य आदेश जारी हुए थे मगर उक्त वजन के ठोस घनत्व के भाला न लगाकर  दो पतले लोहे की पोलकी जोड़कर डिजाइन  निर्माण किया गया जबकि ग्रिल में लगाए गए लोहे की 3500 भाले जिसमें एक भाला का घनत्व वजन 500 ग्राम अथवा आधा किलोग्राम न होकर उसका वजन मात्र 200 ग्राम  भी नही है उसके पीछे छग राज्य वन विकास निगम ने साढ़े तीन लाख रुपये के अतिरिक्त लोहे के भाले पूरे ऑक्सीजोन क्षेत्र में सुरक्षा की दृष्टिकोण से लगवा दिए  जो अब  पूरी तरह से चोरी हो गए  और मात्र दस फीसदी ही शेष है वहीं ऑक्सीजोन  में चारो ओर लगाए गए लोहे के ग्रिल की गुणवत्ता और वजन में भी अब संदेह व्यक्त किया जा रहा है कि लगाए गए लोहे ग्रिल की सामग्री का घनत्व एवं वजन में समझौता कर कहीं भारी गड़बड़ी न किया गया हो ? यदि इसकी जांच की जाती है तो एक बहुत बड़े गड़बड़,घोटाला,और भ्रष्टाचार का पर्दाफाश हो सकता है क्योंकि लोहे के ग्रिल लगाए एक वर्ष भी नही हुए अभी से कथित लोहे के ग्रिल जंग जु हो कर  सड़ने लग गया है  ऑक्सीजोन का उद्घाटन गत वर्ष 2020 के प्रारंभिक माह में प्रदेश के मुख्य मंत्री श्री भूपेश बघेल वन मंत्री श्री मोहम्मद  अकबर एवं सम्मानित प्रशासनिक अतिथियों की गरिमामयी उपस्थिति में संपन्न हुआ था जो एक वर्ष में ही ऑक्सीजोन की स्थिति देखरेख,और,सुरक्षा के अभाव में इसकी कांतिमय आभा में  ग्रहण और व्यवस्था छिन्न भिन्न होते नज़र आ रही है वैसे भी ज्ञात यह हुआ है कि स्वपोषित संस्था होने की वजह से  छग राज्य वन विकास निगम के राजस्व में किसी प्रकार की बढ़ोतरी नही हुई है केवल वन विकास निगम के  प्रत्येक मंडल कार्यालय कोरोना काल मे औपचारिकता पूर्ण कार्य कर रहे है डिपो और काष्ठागर की नीलामी भी प्रभावित हुई है यहां तक कैम्पा मद से मिलने वाली राशि भी लगभग बन्द हो चुका है नए प्लांटेशन  की स्थित बचे खुचे राशि से किए जाने की जुगत की जा  रही है ऐसे में  आम आदमी के  द्वारा छग वन विकास निगम में लगातार चोरी की घटनाओं का बढ़ना आश्चर्य,एव अचरज  जैसी अभिव्यक्ति प्रदर्शित किए जाने में कोई गुरेज नही है